Saturday, 01 November 2025

बाढ़-प्रभावित सरकारी परिसंपत्तियों की मरम्मत को मंजूरी: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने जारी किए ₹ 1,012.92 करोड़, 50,288 परिसंपत्तियां होंगी दुरुस्त


बाढ़-प्रभावित सरकारी परिसंपत्तियों की मरम्मत को मंजूरी: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने जारी किए ₹ 1,012.92 करोड़, 50,288 परिसंपत्तियां होंगी दुरुस्त

जयपुर। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने बाढ़ एवं अतिवृष्टि से क्षतिग्रस्त सरकारी परिसंपत्तियों की त्वरित मरम्मत के लिए ₹1,012 करोड़ 92 लाख की बड़ी वित्तीय स्वीकृति जारी की है। यह राशि राज्यभर में 50,288 सरकारी परिसंपत्तियों के पुनर्निर्माण और मरम्मत पर खर्च होगी। इनमें सड़कों, पुलियाओं, डैम, एनीकट, विद्यालय भवनों, स्वास्थ्य केंद्रों, आंगनबाड़ी केंद्रों और अन्य सार्वजनिक संरचनाओं की मरम्मत शामिल है। इस निर्णय से प्रदेश में आपदा प्रभावित क्षेत्रों में बुनियादी सुविधाओं की बहाली को गति मिलेगी।

सबसे अधिक खर्च शिक्षा, PWD और महिला-बाल विकास विभागों पर

मुख्यमंत्री की स्वीकृति के अनुसार—

सार्वजनिक निर्माण विभाग (PWD): ₹294 करोड़
  14,212 सड़कें
1,161 पुलियाएं

  • शिक्षा विभाग: ₹487 करोड़
      24,531 स्कूल/शैक्षणिक परिसंपत्तियांरिटायरमेंट

  • महिला एवं बाल विकास विभाग: ₹173 करोड़
    7,911 आंगनबाड़ी भवन
    जल संसाधन विभाग: ₹19+ करोड़
    902 परियोजनाएं

  • चिकित्सा विभाग: ₹12.80 करोड़
      681 स्वास्थ्य संस्थानक्या कर दिया

  • पंचायतीराज विभाग: ₹19.39 करोड़

  • PHED: 17 परिसंपत्तियों के लिए राशि स्वीकृत

यह निवेश सुनिश्चित करेगा कि स्कूलों, आंगनबाड़ियों और स्वास्थ्य केंद्रों सहित महत्वपूर्ण सार्वजनिक ढांचे को जल्द दुरुस्त किया जाए।

किसी के पास है इतनाजिलावार स्वीकृत राशि (मुख्य जिले)

जिला

राशि (₹ करोड़)

जिला

राशि (₹ करोड़)

जयपुर

60.57

जोधपुर

42.09

टोंक

51.15

जालोर

51.75

नागौर

55.45

उदयपुर

40.88

बूंदी

42.18

कोटा

39.41

भीलवाड़ा

38.27

झालावाड़

34.97

दौसा

32.15

राजसमंद

29.18

बारां

25.42

चूरू

25.80

करौली

24.48

डीडवाना–कुचामन

24.52

अलवर

12.52

भरतपुर

8.99

अन्य जिलों को भी राशि स्वीकृत — सूची विस्तृत है।

मुख्यमंत्री ने कहा—"गुणवत्ता और समयसीमा सर्वोपरि"

मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि यह स्वीकृति आपदा प्रभावित क्षेत्रों में जनसुविधाओं की शीघ्र बहाली की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने निर्देश दिए कि—

  • मरम्मत कार्यों में गुणवत्ता से समझौता न हो

  • कार्यों को समयसीमा में पूरा किया जाए

  • प्रभावित जनता को शीघ्र राहत सुनिश्चित की जाए

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