जैसलमेर में पदस्थ कलेक्टर प्रताप सिंह के खिलाफ राजस्थान प्रशासनिक सेवा (आरएएस) एसोसिएशन ने कड़ा रुख अपनाते हुए राज्य के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को पत्र लिखा है। एसोसिएशन ने कलेक्टर प्रताप सिंह पर आरएएस अफसरों के साथ दुर्व्यवहार और नियमों के विरुद्ध दबाव बनाकर काम कराने के गंभीर आरोप लगाए हैं।
पत्र में एसोसिएशन ने मांग की है कि कलेक्टर प्रताप सिंह को तुरंत पद से हटाकर उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाए। साथ ही चेतावनी दी है कि यदि जल्द कार्रवाई नहीं हुई तो सभी आरएएस अधिकारी सामूहिक हड़ताल पर जाएंगे।
एसोसिएशन द्वारा भेजे गए पत्र में उल्लेख किया गया है कि पोकरण के पूर्व एसडीएम प्रभजोत सिंह गिल ने दो मामलों में कलेक्टर पर निजी स्वार्थ और दबाव में कार्य करने का आरोप लगाया है। उन्होंने यह भी कहा कि प्रताप सिंह ने एक सोलर कंपनी के पक्ष में निर्णय लेने और सूदखोर के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने का निर्देश दिया था।
गंभीर आरोपों में कहा गया है कि 27 अप्रैल को कलेक्टर ने प्रभजोत सिंह गिल को फोन करके जैसलमेर बुलाया और अपने चैंबर में सोलर कंपनी के पक्ष में फैसले लेने का दबाव डाला। इसके अतिरिक्त कलेक्टर ने एक सूदखोर कंपनी मालिक के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं करने का स्पष्ट निर्देश भी दिया। इस पूरी घटना को लेकर प्रभजोत गिल ने डीओपी को एक विस्तृत पत्र लिखा, जिसकी प्रति एसोसिएशन ने अपने पत्र के साथ संलग्न की है।
गौरतलब है कि प्रभजोत सिंह गिल को अब मूंडवा (जिला नागौर) में एसडीएम के पद पर नियुक्त किया गया है। एसोसिएशन ने आरोप लगाया है कि जैसलमेर कलेक्टर का रवैया गिल के प्रति शुरू से ही असहयोगात्मक और पक्षपाती रहा है।