राजस्थान में खेल संघों की कार्यशैली को लेकर लगातार उठ रहे सवालों के बीच राज्य के खेल मंत्री कर्नल राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने बड़ा और सख्त कदम उठाते हुए कहा है कि अब खेल के नाम पर किसी भी प्रकार का भ्रष्टाचार या अनियमितता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि राजस्थान में खेल के साथ किसी भी प्रकार का खिलवाड़ अब सहन नहीं होगा। इसी क्रम में उन्होंने राजस्थान क्रीड़ा परिषद को निर्देश दिए हैं कि राज्य की सभी खेल फेडरेशनों और समितियों का वित्तीय ऑडिट अनिवार्य रूप से करवाया जाए। उनका उद्देश्य खेल संगठनों में पारदर्शिता बनाए रखना और वित्तीय गड़बड़ियों पर रोक लगाना है।
खेल मंत्री ने यह भी कहा कि अब समय आ गया है जब राजस्थान के खेल संघों को एक उच्च स्तरीय प्रशासनिक व्यवस्था अपनानी चाहिए, जैसी कि भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) में लागू है। उन्होंने क्रिकेट सहित सभी खेल संघों के लिए सशक्त और ईमानदार प्रणाली लागू करने पर जोर दिया है।
राजस्थान क्रीड़ा परिषद पहले ही राजस्थान राज्य ओलंपिक संघ सहित कुछ अन्य खेल संघों को चेतावनी दे चुकी है कि अगर वे पारदर्शिता नहीं बरतते और नियमों की अनदेखी करते हैं, तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। अब राज्य के खेल मंत्री द्वारा सीधे तौर पर यह संकेत मिलना कि खेल संघों को राजनीति से ऊपर उठकर केवल खेल और खिलाड़ियों के विकास पर ध्यान देना चाहिए, खेल क्षेत्र में सुधार की दिशा में एक निर्णायक कदम माना जा रहा है।
राज्य सरकार का यह प्रयास राजस्थान में खेल प्रशासन को अधिक जवाबदेह और पारदर्शी बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हो सकता है, जिससे खिलाड़ियों को बेहतर अवसर और निष्पक्ष वातावरण मिलेगा।