दौसा उपचुनाव में अपने भाई जगमोहन मीणा की हार से आहत कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ीलाल मीणा ने अपनी पीड़ा सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर साझा की। उन्होंने लगातार छह पोस्ट के जरिए इशारों में भाजपा के भीतरघातियों पर गंभीर आरोप लगाए और हार का जिम्मेदार अपनी ही पार्टी के नेताओं को ठहराया।
कृषि मंत्री डॉ.किरोड़ी मीणा ने लिखा, "मुझे तो सदा ही अपनों ने ही मारा है। मुझमें बस एक ही कमी है कि मैं चाटुकारिता नहीं करता। इसी प्रवृत्ति के चलते मैंने अपने राजनीतिक जीवन में बहुत नुकसान उठाया है। भाई का कर्ज नहीं चुका पाया।"
अपने पोस्ट में कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ी मीणा ने पार्टी के भीतरगामी नेताओं पर निशाना साधा। उन्होंने लिखा, "राजनीति में अपनी सच्चाई और ईमानदारी की कीमत चुकानी पड़ती है। मेरे साथ हमेशा यही हुआ है। दौसा में भाई की हार का कारण विपक्ष नहीं, बल्कि अपने लोग थे।"
दौसा सीट पर भाजपा की हार ने कृषि मंत्री डॉ.किरोड़ी मीणा के समर्थकों में निराशा और उनके परिवार में गुस्सा भर दिया है। इस हार ने न केवल भाजपा की रणनीति पर सवाल उठाए हैं, बल्कि पार्टी में अंदरूनी कलह को भी उजागर किया है।
कृषि मंत्री डॉ.किरोड़ी मीणा ने अपनी पोस्ट में लिखा, "मैंने सच्चाई और ईमानदारी को प्राथमिकता दी है, लेकिन चाटुकारिता से दूर रहने के कारण मुझे अपनी पार्टी में हमेशा उपेक्षा झेलनी पड़ी है। दौसा उपचुनाव में भी यही कारण हार का मुख्य कारण बना।"
कृषि मंत्री डॉ.किरोड़ी मीणा के इन बयानों ने राजस्थान की राजनीति में हलचल मचा दी है। पार्टी के भीतर इन आरोपों को लेकर चर्चा तेज हो गई है। माना जा रहा है कि उनके इस बयान से पार्टी की अंदरूनी कलह और चुनावी रणनीति पर सवाल उठेंगे।
दौसा उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी जगमोहन मीणा की हार ने पार्टी को बड़ा झटका दिया है। कृषि मंत्री डॉ.किरोड़ी मीणा के आरोपों ने इस हार को और विवादित बना दिया है।