ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुरुवार (आज) राजस्थान दौरे पर बीकानेर पहुंचेंगे। इस दौरान प्रधानमंत्री बीकानेर के सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण नाल एयरफोर्स स्टेशन पर वायुसेना के जवानों से मुलाकात करेंगे।
हाल ही में पाकिस्तान ने ऑपरेशन सिंदूर के जवाब में भारत के कई एयरबेस पर हमला किया था, जिनमें नाल एयरबेस भी शामिल था। भारतीय वायुसेना ने फलोदी, बाड़मेर के उत्तरलाई और बीकानेर के नाल एयरबेस पर हुए ड्रोन और मिसाइल हमलों को नाकाम करते हुए पाकिस्तान को करारा जवाब दिया था।
नाल एयरबेस की सामरिक अहमियत:बीकानेर जिले की 168 किलोमीटर लंबी सीमा पाकिस्तान से लगती है। नाल एयरबेस शहर से सिर्फ 15 किलोमीटर और पाकिस्तान बॉर्डर से लगभग 150 किलोमीटर दूर स्थित है। यह एयरबेस भारत के लिए एक महत्वपूर्ण सैन्य रणनीतिक केंद्र है क्योंकि इसकी रेंज में पाकिस्तान के छह बड़े शहर आते हैं।
इतिहास से जुड़ा है नाल एयरबेस:यह एयरबेस सिर्फ आधुनिक सैन्य दृष्टिकोण से नहीं, बल्कि ऐतिहासिक रूप से भी बहुत महत्वपूर्ण है।
प्रथम और द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान इस हवाई पट्टी का उपयोग ब्रिटिश सेना ने किया था।
आजादी से पहले ब्रिटिश सेना यहां से फाइटर जेट्स ऑपरेट करती थी।
1950 में भारतीय वायुसेना को यह एयरबेस सौंपा गया था।
नाल एयरबेस न केवल वायुसेना के जवानों और पायलटों के प्रशिक्षण केंद्र के रूप में कार्य करता है, बल्कि यहां से कई बड़े सैन्य ऑपरेशन भी संचालित किए जाते हैं। पाकिस्तान की सीमा से नजदीकी के कारण इस स्टेशन पर दुश्मन देशों की खास नजर भी रहती है।
प्रधानमंत्री मोदी का यह दौरा न केवल वायुसेना के मनोबल को बढ़ाएगा बल्कि ऑपरेशन सिंदूर की सैन्य सफलता के प्रतीक के रूप में भी देखा जा रहा है।