देवली-उनियारा के थप्पड़कांड विवाद का मामला अभी भी शांत होता नहीं दिख रहा है। ग्रामीणों पर दर्ज मुकदमों और जांच की मांग को लेकर सोमवार को कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ीलाल मीणा ने गृह राज्यमंत्री जवाहर सिंह बेढ़म से जयपुर में मुलाकात की। इस मुलाकात में ग्रामीणों का प्रतिनिधिमंडल भी शामिल था। वार्ता के बाद किरोड़ी मीणा ने ग्रामीणों के बदलते बयानों पर नाराजगी जताई।
मुलाकात के बाद कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ी मीणा, गृह राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेढ़म और जलदाय मंत्री कन्हैया लाल चौधरी ने संयुक्त बयान जारी करते हुए हिंसा की जांच संभागीय आयुक्त स्तर पर कराने पर सहमति व्यक्त की। लेकिन मौके पर मौजूद कुछ ग्रामीणों ने इस पर आपत्ति जताते हुए कहा कि वे न्यायिक जांच चाहते हैं। ग्रामीणों का कहना था कि हिंसा की निष्पक्ष जांच केवल न्यायिक स्तर पर हो सकती है।
ग्रामीणों की आपत्ति सुनने के बाद कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ीलाल मीणा भड़क गए। उन्होंने कहा कि तुम लोग बदल-बदल कर बयान क्यों दे रहे हो। मैंने मीडिया में आपके बयान के आधार पर सहमति दी थी। अब तुम लोग कह रहे हो कि तुम सहमत नहीं हो। इससे गलत संदेश जा रहा है। अगर आप कलक्टर-एसपी की गिरफ्तारी चाहते थे तो पहले ही स्पष्ट कर देते। अब मैं मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा के पास नहीं जाऊंगा।"
उल्लेखनीय है कि देवली-उनियारा विधानसभा के समरावता (टोंक) गांव में 13 नवंबर को उपचुनाव के दौरान ग्रामीणों ने मतदान का बहिष्कार किया था। निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा और ग्रामीण धरने पर बैठे थे। नरेश मीणा ने अधिकारियों पर जबरन मतदान करवाने का आरोप लगाया। इसी दौरान उन्होंने पोलिंग बूथ में घुसने की कोशिश की, लेकिन एसडीएम अमित चौधरी ने उन्हें रोका। इसके बाद गुस्से में आकर नरेश मीणा ने एसडीएम को थप्पड़ मार दिया।
समरावता प्रकरण पर गृह राज्य मंत्री श्री जवाहर सिंह बेढम व जलदाय मंत्री श्री कन्हैयालाल चौधरी की उपस्थिति में ग्रामीणों के प्रतिनिधिमंडल से वार्ता हुई। इससे निकले बिंदुओं को मुख्यमंत्री श्री @BhajanlalBjp के सामने रखा गया। उन्होंने निम्न बिंदुओं पर सकारात्मक सहमति प्रदान की-
— Dr. Kirodi Lal Meena (@DrKirodilalBJP) November 19, 2024
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