जयपुर— राजस्थान सरकार ने पशुपालन विभाग में रिक्त पदों को शीघ्र भरने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए पशु चिकित्सा अधिकारी के 1100 पदों के लिए राजस्थान लोक सेवा आयोग (आरपीएससी) को अभ्यर्थना भेज दी है। यह जानकारी पशुपालन, गोपालन, डेयरी एवं देवस्थान मंत्री श्री जोराराम कुमावत ने बुधवार को सचिवालय में आयोजित विभागीय समीक्षा बैठक के दौरान दी।
पशुपालन, गोपालन, डेयरी मंत्री कुमावत ने बैठक में निर्देश दिए कि भर्ती प्रक्रियाओं को प्राथमिकता के आधार पर पूरा किया जाए। उन्होंने बताया कि पशुधन निरीक्षक के 2540 पदों के लिए 13 जून 2025 को प्रतियोगी परीक्षा आयोजित की जा चुकी है, और अब परीक्षा परिणाम जल्द जारी किया जाएगा। वहीं पशु परिचर के 6433 पदों के लिए दस्तावेज़ सत्यापन की प्रक्रिया पूर्ण हो चुकी है, लेकिन कुछ प्रकरण न्यायालय में लंबित हैं। इन मामलों में मजबूत पैरवी करने के निर्देश दिए गए हैं ताकि प्रक्रिया में कोई बाधा न आए।
बैठक में मुख्यमंत्री की घोषणा मंगला पशु बीमा योजना की प्रगति की समीक्षा की गई, जिसके तहत 15 अगस्त 2025 तक 16 लाख पशुओं को हेल्थ सर्टिफिकेट देकर बीमा पॉलिसी वितरित करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसके अलावा 200 करोड़ रुपए की लागत से पशुपालन विभाग के भवनों की मरम्मत एवं नए भवनों के निर्माण की कार्ययोजना को भी गति देने के निर्देश दिए गए।
पशुपालन, गोपालन, डेयरी मंत्री कुमावत ने नेशनल लाइव स्टॉक मिशन के तहत लंबित आवेदनों का त्वरित निस्तारण, और पशु चिकित्सा महाविद्यालयों एवं डिप्लोमा कोर्सों के संचालन की भी समीक्षा की। साथ ही, उन्होंने गौवंश में लंपी, गलघोंटू और लंगड़ा बुखार जैसी मौसमी बीमारियों से बचाव के लिए चल रहे टीकाकरण अभियानों को और प्रभावी बनाने पर जोर दिया।
बैठक में पशुपालन विभाग के निदेशक डॉ. आनंद सेजरा सहित वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे और विभागीय योजनाओं की प्रगति पर विस्तृत चर्चा की गई।