अजमेर में हुई पहली बारिश ने ही शहर की तैयारियों की पोल खोल दी, जब जिला कलेक्टर कार्यालय के पास स्थित एसबीआई बैंक की मुख्य ब्रांच की दीवार भारी बारिश के चलते ढह गई। इस हादसे में एक व्यक्ति की मौत और कई घायल हो गए। घटना की जानकारी मिलते ही पूर्व आरटीडीसी अध्यक्ष धर्मेंद्र राठौड़ ने तत्काल घटनास्थल का दौरा किया और मौके की वास्तविक स्थिति का जायजा लिया।
इसके बाद वे जेएलएन अस्पताल पहुंचे, जहां दीवार गिरने से घायल हुए मरीज का हालचाल लिया और चिकित्सकों से बात कर बेहतर इलाज सुनिश्चित करने को कहा। मीडिया से बातचीत में धर्मेंद्र राठौड़ ने घटना को प्रशासन की लापरवाही बताया और कहा कि भारी बारिश की चेतावनी के बावजूद जिला प्रशासन और नगर निगम ने कोई ठोस तैयारी नहीं की, जिससे इतना बड़ा हादसा घटित हुआ।
राठौड़ ने कहा कि हादसे में हुई मौत और घायलों की स्थिति को देखते हुए राज्य सरकार को तुरंत उचित मुआवजा देना चाहिए, ताकि पीड़ित परिवारों को राहत मिल सके। उन्होंने यह भी कहा कि यह प्रशासनिक असंवेदनशीलता का परिणाम है, जो आमजन की सुरक्षा से जुड़ी है।
धर्मेंद्र राठौड़ के अस्पताल दौरे के दौरान अस्पताल प्रशासन की लचर व्यवस्थाएं भी उजागर हुईं। अस्पताल परिसर में जगह-जगह बारिश का पानी जमा था, जिससे राठौड़ को खुद भरे हुए पानी से गुजरकर मरीज तक पहुंचना पड़ा। इतना ही नहीं, बारिश के दौरान बिजली भी गुल हो गई, जिससे मरीजों और उनके परिजनों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ा।
उन्होंने सरकार और अस्पताल प्रशासन से आग्रह किया कि अस्पताल में जलभराव और बिजली जैसी समस्याओं का स्थायी समाधान निकाला जाए, ताकि भविष्य में मरीजों को ऐसी असुविधा न हो।
इस दौरान उनके साथ पार्षद नोरत गुर्जर, हमीद चीता, ब्लॉक अध्यक्ष शैलेन्द्र अग्रवाल, वाहिद मोहम्मद, पूर्व पार्षद सर्वेश पारीक, हेमंत जोधा, मंडल अध्यक्ष भंवर सिंह राठौड़, आरिफ खान, यूनुस शेख, अशरफ अली सहित अनेक स्थानीय जनप्रतिनिधि और कार्यकर्ता मौजूद रहे।
यह दौरा न सिर्फ पीड़ितों के प्रति संवेदना का प्रतीक रहा, बल्कि प्रशासनिक लापरवाही और सिस्टम की असफलता को भी उजागर करने वाला कदम साबित हुआ।