जयपुर। राम मंदिर में नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली के दर्शन के बाद गंगाजल छिड़कने के विवाद में भारतीय जनता पार्टी ने सीनियर नेता और पूर्व विधायक ज्ञानदेव आहूजा के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की है। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष मदन राठौड़ को सौंपी गई अनुशासन समिति की रिपोर्ट में आहूजा के खिलाफ लगे आरोपों को सही पाया गया, जिसके बाद पार्टी ने उनकी सदस्यता समाप्त करने का निर्णय लिया।
इससे पहले सोमवार को ज्ञानदेव आहूजा अपना पक्ष रखने अनुशासन समिति के समक्ष पेश हुए थे। मीडिया से बातचीत में आहूजा ने कहा कि उन्होंने कोई दलित विरोधी कार्य नहीं किया और उनके बयान को गलत तरीके से प्रस्तुत किया गया।
गौरतलब है कि हाल ही में नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली के राम मंदिर में दर्शन के बाद गंगाजल छिड़कने का मामला तूल पकड़ गया था, जिसे लेकर भाजपा के भीतर ही असंतोष और तीखी प्रतिक्रियाएं सामने आई थीं। पार्टी नेतृत्व ने पूरे प्रकरण को गंभीरता से लेते हुए अनुशासन समिति को जांच के आदेश दिए थे। समिति ने जांच कर अपनी रिपोर्ट में ज्ञानदेव आहूजा की भूमिका को अनुशासनहीनता और पार्टी की छवि धूमिल करने वाला माना, जिसके आधार पर कार्रवाई की गई।
पार्टी के इस निर्णय को आगामी चुनावों से पहले एक सख्त संदेश के रूप में देखा जा रहा है कि अनुशासनहीनता और असंवेदनशील बयानों पर अब कोई नरमी नहीं बरती जाएगी।