टोंक नगर परिषद में सफाई कर्मचारी भर्ती प्रक्रिया को लेकर सोमवार को वाल्मीकि समाज ने बड़े पैमाने पर प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने सफाई कार्य अनुभव प्रमाण पत्रों को फर्जी बताते हुए निष्पक्ष जांच और ठेकेदार के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की।
वाल्मीकि समाज ने आरोप लगाया कि नगर परिषद में सफाई कर्मचारी भर्ती के लिए एक सफाई ठेकेदार द्वारा फर्जी अनुभव प्रमाण पत्र जारी किए गए हैं। प्रदर्शनकारियों ने ठेकेदार मनोज कुमार पारोचिया पर अपने रिश्तेदारों को फर्जी अनुभव प्रमाण पत्र देने का आरोप लगाया, जबकि 2016-17 में काम करने वाले कर्मचारियों को ऐसे प्रमाण पत्र नहीं मिले।
सैकड़ों महिलाओं और पुरुषों ने राजस्थान सफाई मजदूर कांग्रेस के अध्यक्ष नाथुलाल चांवरिया और रामबाबू परवाना की अगुवाई में नगर परिषद आयुक्त ममता नागर को ज्ञापन सौंपा। उन्होंने मांग की कि:
ज्ञापन में लिखा गया है कि 2016-17 में ठेकेदार के अधीन काम करने वाले कर्मचारियों का रिकॉर्ड नगर परिषद में मौजूद है। ऐसे कर्मचारियों को ही अनुभव प्रमाण पत्र दिए जाएं।
नगर परिषद आयुक्त ममता नागर ने बताया कि सफाई कर्मचारी भर्ती के लिए 248 पदों के मुकाबले 2604 आवेदन प्राप्त हुए हैं। अनुभव प्रमाण पत्रों में फर्जीवाड़े की शिकायतों की जांच कराई जाएगी और स्थानीय निकाय निदेशालय से दिशा-निर्देश मिलने के बाद ही कार्रवाई होगी।
प्रदर्शन के बाद वाल्मीकि समाज ने गांधी पार्क में बैठक आयोजित की और जिला कलेक्टर को ज्ञापन दिया। समाज ने भर्ती प्रक्रिया को रद्द करने और ठेकेदार के खिलाफ कार्रवाई की मांग पर जोर दिया। प्रदर्शनकारियों ने कहा कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं, आंदोलन जारी रहेगा।