Monday, 24 November 2025

मुख्यमंत्री ने संभाग बैठक में कार्यकर्ताओं से किया सीधा संवाद: नाराजगी दूर करने के लिए 1 दिसंबर से भाजपा कार्यालय में मंत्रियों की होगी जनसुनवाई शुरू


मुख्यमंत्री ने संभाग बैठक में कार्यकर्ताओं से किया सीधा संवाद: नाराजगी दूर करने के लिए 1 दिसंबर से भाजपा कार्यालय में मंत्रियों की होगी जनसुनवाई शुरू

जयपुर। राजस्थान में भाजपा कार्यकर्ताओं की नाराज़गी दूर करने और सरकार स्तर पर लंबित कार्यों के त्वरित निस्तारण के उद्देश्य से 1 दिसंबर से प्रदेश भाजपा कार्यालय में मंत्रियों की जनसुनवाई शुरू होने जा रही है। हर सप्ताह तीन दिन—सोमवार, मंगलवार और बुधवार—दो-दो मंत्री पार्टी कार्यालय में मौजूद रहकर कार्यकर्ताओं की समस्याएं सुनेंगे और उनके समाधान पर कार्रवाई करेंगे।

मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने रविवार को मुख्यमंत्री निवास पर अजमेरऔर बीकानेर संभाग के भाजपा जिला अध्यक्षों, मंडल अध्यक्षों और विभिन्न पदाधिकारियों के साथ महत्वपूर्ण संगठनात्मक बैठकें कीं। भजनलाल सरकार के गठन के समय ही मंत्रियों द्वारा जनसुनवाई कार्यक्रम शुरू करने की घोषणा की गई थी, लेकिन इसे समय पर लागू नहीं किया जा सका। बाद में तत्कालीन प्रदेशाध्यक्ष सीपी जोशी ने मंत्रियों के बिना ही संगठन के प्रदेश पदाधिकारियों के माध्यम से जनसुनवाई प्रारंभ करवाई, परंतु सत्ता और संगठन के बीच समन्वय की कमी के चलते यह कार्यक्रम कुछ ही दिनों में स्थगित करना पड़ा।

रविवार को सीएमओ में आयोजित अजमेर-बीकानेर संभाग के कार्यकर्ताओं की बैठक में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने पुनः घोषणा की कि 1 दिसंबर से बीजेपी कार्यालय में मंत्रियों की नियमित जनसुनवाई शुरू की जाएगी। यह निर्णय हाल ही में हुए अंता उपचुनाव में मिली हार के मंथन के बाद लिया गया है। संगठन की रिपोर्ट में पाया गया कि कार्यकर्ताओं की शिकायतें समय पर नहीं सुनी जाने के कारण असंतोष बढ़ा, जो चुनाव परिणामों पर भी असर डाल गया। संगठन अब नए सिरे से व्यवस्था बना रहा है। सोमवार से बुधवार तक दो-दो मंत्री जनसुनवाई करेंगे और पार्टी एक वरिष्ठ पदाधिकारी को भी इस प्रक्रिया में शामिल करने पर विचार कर रही है।

भाजपा प्रदेश महामंत्री दामोदर अग्रवाल ने कहा कि “1 दिसंबर से मंत्री दरबार शुरू करने पर सहमति बन गई है, और तैयारियां अंतिम चरण में हैं।” यह मॉडल नया नहीं है। वसुंधरा राजे के दूसरे कार्यकाल (2013-2018) में भी बीजेपी मुख्यालय में मंत्रियों की जनसुनवाई नियमित रूप से होती थी, जिसमें हजारों कार्यकर्ताओं की समस्याओं का समाधान हुआ था। पार्टी मानती है कि जनसुनवाई संगठन को मजबूत करने का एक प्रभावी तरीका है।

नागौर जिला संगठन प्रभारी पुखराज पहाड़िया ने बताया कि मुख्यमंत्री स्तर पर कार्यक्रम तय किया गया है और आने वाले निकाय व पंचायत चुनावों की तैयारी के लिए भी दिशा-निर्देश दिए गए हैं। पार्टी मानती है कि जनसुनवाई से कार्यकर्ताओं का विश्वास बढ़ेगा और संगठन तथा सरकार के बीच बेहतर तालमेल स्थापित होगा।

बैठक में भाजपा प्रदेशाध्यक्ष मदन राठौड़, राज्य वित्त आयोग के अध्यक्ष अरुण चतुर्वेदी, भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और सांसद सीपी जोशी, राज्यसभा सांसद घनश्याम तिवाड़ी और पूर्व प्रदेशाध्यक्ष अशोक परनामी सहित कई वरिष्ठ नेता मौजूद थे। मुख्यमंत्री शर्मा ने कार्यकर्ताओं से सीधे संवाद करते हुए कहा कि राज्य में भाजपा सरकार ने दो वर्षों में पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार से कहीं अधिक काम किया है, और अब कार्यकर्ताओं का दायित्व है कि वे इन उपलब्धियों को जन-जन तक पहुंचाएं। उन्होंने कहा कि भाजपा एक ऐसा संगठन है, जहां हर कार्यकर्ता को आगे बढ़ने और नेतृत्व की भूमिका निभाने का अवसर मिलता है। मुख्यमंत्री ने मंडल स्तर पर नियमित बैठकों के आयोजन की आवश्यकता पर जोर देते हुए कहा कि भाजपा का हर कार्यकर्ता एक गुलदस्ते की तरह एकजुट रहकर काम करता है, और यही पार्टी की सबसे बड़ी ताकत है।

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष और सांसद मदन राठौड़ ने कांग्रेस पर तीखा प्रहार करते हुए कहा कि पिछली कांग्रेस सरकार ने पंचायत चुनावों से पहले राजनीतिक लाभ लेने के लिए वार्डों का असमान पुनर्गठन किया और जिलों का गठन भी जल्दबाजी में केवल राजनीतिक हित साधने के लिए किया था। राठौड़ ने कहा कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में राज्य सरकार ने मात्र दो वर्षों में कई ऐसे काम पूरे किए हैं जिन्हें कांग्रेस सरकार वर्षों तक लंबित छोड़ गई थी। बैठक में संगठन विस्तार, बूथ सशक्तीकरण और आगामी राजनीतिक कार्यक्रमों को लेकर भी महत्वपूर्ण चर्चाएं की गईं।

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