



प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बुधवार को तमिलनाडु के कोयम्बटूर में आयोजित कार्यक्रम में पीएम किसान सम्मान निधि की 21वीं किस्त जारी करते हुए किसानों के कल्याण के लिए अनेक ऐतिहासिक कदम उठाए जाने की जानकारी दी। इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम से राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े और प्रधानमंत्री का संबोधन सुना। मुख्यमंत्री शर्मा ने दुर्गापुरा स्थित राज्य कृषि प्रबंधन संस्थान में आयोजित राज्य स्तरीय कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि किसान देश की रीढ़ हैं और उनकी मेहनत, लगन व समर्पण देश की खाद्य सुरक्षा का आधार है।
मुख्यमंत्री शर्मा ने बताया कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 21वीं किस्त के तहत लगभग 1400 करोड़ रुपये राजस्थान के किसानों के खातों में हस्तांतरित किए गए हैं। उन्होंने कहा कि अब तक जारी 20 किस्तों से राजस्थान के किसानों को 25 हजार करोड़ रुपये से अधिक की राशि प्रदान की जा चुकी है। किसानों को लाभ पहुंचाने की संख्या के लिहाज से राजस्थान देश में पांचवें स्थान पर है। सीएम ने कहा कि उनकी सरकार अंतिम पायदान पर खड़े व्यक्ति के विकास और अंत्योदय की संकल्पना पर कार्य कर रही है।
मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि पूर्ववर्ती सरकार के कार्यकाल में पेपरलीक से युवाओं के सपने टूटे, लेकिन वर्तमान सरकार के कार्यकाल में एक भी पेपरलीक नहीं हुआ। मुख्यमंत्री रोजगार उत्सव के अंतर्गत अब तक 92 हजार युवाओं को नियुक्ति पत्र प्रदान किए जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि राइजिंग राजस्थान ग्लोबल इन्वेस्टमेंट समिट के माध्यम से राज्य में 7 लाख करोड़ रुपये के एमओयू की ग्राउंड ब्रेकिंग हो चुकी है, जिससे निजी क्षेत्र में रोजगार और स्वरोजगार के नए अवसर बन रहे हैं। सरकार का लक्ष्य 5 साल में 4 लाख सरकारी नौकरियां प्रदान करने का है।
मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार किसानों को आर्थिक रूप से मजबूत करने के लिए मुख्यमंत्री किसान सम्मान निधि के तहत 3,000 रुपये अतिरिक्त प्रदान कर रही है, जिससे किसानों को केंद्र और राज्य सरकार से मिलकर कुल 9,000 रुपये प्रतिवर्ष प्राप्त हो रहे हैं, जिसे बढ़ाकर 12,000 रुपये करने का लक्ष्य है। उन्होंने जल प्रबंधन के लिए राज्य में राम जल सेतु लिंक, यमुना जल समझौता, इंदिरा गांधी नहर परियोजना, गंगनहर, माही बांध विस्तार और देवास परियोजना जैसे बड़े निर्णयों का उल्लेख किया।
मुख्यमंत्री शर्मा ने बताया कि किसानों को बिजली बिलों में 41 हजार करोड़ रुपये से अधिक की सब्सिडी दी गई है और 22 जिलों में दिन में बिजली देने की शुरुआत हो चुकी है। पीएम कुसुम योजना के माध्यम से 2 लाख किसान सोलर ऊर्जा से जुड़ चुके हैं। पशुपालकों को दूध पर 5 रुपये प्रति लीटर बोनस, मोबाइल पशु चिकित्सा यूनिट, स्कूलों में दूध वितरण और गोपाल क्रेडिट कार्ड योजना के तहत ब्याजमुक्त ऋण जैसी सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। किसानों को गुणवत्तापूर्ण बीज किट भी प्रदान किए जा रहे हैं।
मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि अब तक 77 लाख किसानों को 43 हजार करोड़ रुपये से अधिक अल्पकालीन ब्याजमुक्त फसली ऋण वितरित किए जा चुके हैं। हर ग्राम पंचायत में सहकारी समिति स्थापित की जा रही है। पैक्स कंप्यूटराइजेशन कार्य तेज़ी से जारी है, जिससे पारदर्शिता और दक्षता दोनों बढ़ी हैं।
प्रदेश में 5,735 पैक्स गो-लाइव, 97 हजार कृषि यंत्रों पर 546 करोड़ रुपये अनुदान, 28 हजार किमी तारबंदी और 9 हजार से अधिक पीएम किसान समृद्धि केंद्र स्थापित किए गए हैं। कृषि शिक्षा में छात्राओं को 97 करोड़ रुपये प्रोत्साहन राशि दी गई है।
कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ी लाल मीना ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार की किसान सम्मान निधि से किसानों को प्रतिवर्ष 9 हजार रुपये मिल रहे हैं। सहकारिता राज्य मंत्री गौतम कुमार दक ने कहा कि किसान अर्थव्यवस्था की धुरी हैं और प्रधानमंत्री मोदी ने किसानों के लिए ऐतिहासिक सुधार किए हैं।
कार्यक्रम में सहकारिता पर आधारित लघु फिल्म दिखाई गई। संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल, कृषि शासन सचिव राजन विशाल सहित बड़ी संख्या में किसान और अधिकारी उपस्थित रहे।