Sunday, 07 December 2025

एसएमएस अस्पताल में अधीक्षक डॉ. मृणाल जोशी का बड़ा प्रशासनिक फेरबदल: 17 डॉक्टरों को नई जिम्मेदारियां, फायर सेफ्टी, सिक्योरिटी और ऑर्गन ट्रांसप्लांट कमेटी में बदलाव


एसएमएस अस्पताल में अधीक्षक डॉ. मृणाल जोशी का बड़ा प्रशासनिक फेरबदल: 17 डॉक्टरों को नई जिम्मेदारियां, फायर सेफ्टी, सिक्योरिटी और ऑर्गन ट्रांसप्लांट कमेटी में बदलाव

जयपुर: राजस्थान के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल सवाई मानसिंह (एसएमएस) अस्पताल में अधीक्षक का पद संभालने के बाद डॉ. मृणाल जोशी ने बुधवार को प्रशासनिक ढांचे में बड़ा फेरबदल किया। उन्होंने 17 वरिष्ठ डॉक्टरों को नई जिम्मेदारियां सौंपी हैं। यह कदम अस्पताल की कार्यप्रणाली को और अधिक सशक्त व पारदर्शी बनाने की दिशा में उठाया गया माना जा रहा है।

नए आदेश के अनुसार, अस्पताल के प्रमुख विभागों — ऑर्गन ट्रांसप्लांट, सिक्योरिटी, आईसीयू, ऑक्सीजन प्लांट, ट्रॉमा सेंटर और फायर सेफ्टी — में जिम्मेदारियों का पुनर्वितरण किया गया है।

ऑर्गन ट्रांसप्लांट कमेटी की कमान बदली: हाल ही में रिश्वत कांड में पकड़े गए डॉ. मनीष अग्रवाल को हटाते हुए ऑर्गन ट्रांसप्लांट कमेटी के कन्वीनर की जिम्मेदारी डॉ. गिरधर गोयल को सौंपी गई है। यह बदलाव अस्पताल प्रशासन की पारदर्शिता और जवाबदेही बढ़ाने की दिशा में एक अहम कदम माना जा रहा है।

प्रमुख डॉक्टरों को सौंपी गई नई जिम्मेदारियां

डॉ. सतीश वर्मा: हैड ऑफ ऑफिस, DDO, एस्टेब्लिशमेंट ऑफिस, अकाउंट सेक्शन, कॉन्ट्रेक्ट सेल।
डॉ. गौरव शर्मा: सेंट्रल मेडिकल स्टोर और मेडिकल इक्यूपमेंट रखरखाव के नोडल ऑफिसर; सहयोगी — डॉ. मनोज शर्मा।
डॉ. एन.एस. चौहान: इंचार्ज मेडिकल ऑफिसर, RTI, संपर्क-सुगम पोर्टल और ग्रीवांस सेल; मुख्य भवन का प्रभार भी।

डॉ. अजीत सिंह: इंचार्ज सिक्योरिटी, वाइलेंस कंट्रोल, CCTV और इंफेक्शन कंट्रोल।

डॉ. रश्मि कटारिया: नर्सिंग ड्यूटी, फार्मासिस्ट मैनेजमेंट और प्रवक्ता के रूप में जिम्मेदारी।
डॉ. मोहनीश ग्रोवर: इंचार्ज आरएमआरएस (Rajasthan Medical Relief Society) और आईडीएच।
डॉ. प्रदीप शर्मा: वीवीआईपी प्रोटोकॉल समन्वयक।डॉ. बी.एल. यादव: ट्रॉमा सेंटर के नोडल ऑफिसर।

डॉ. आर.के. पूनिया: इंचार्ज लीगल सेल।

डॉ. नरेंद्र सिंह: ऑक्सीजन प्लांट के प्रभारी।

डॉ. संजय शेखावत: आईसीयू और ओटी मैनेजमेंट; मुख्य भवन की पहली मंजिल के मेडिकल ऑफिसर।

डॉ. आलोक तिवाड़ी: PWD सेक्शन, बिजली और फायर सेफ्टी का दायित्व।

डॉ. अनिल दुबे: कार्डियक टॉवर, नई इमरजेंसी ब्लॉक, DDC व सैंपल सेंटर के नोडल ऑफिसर।

डॉ. जगदीश मोदी: ट्रॉमा सेंटर के एमओआईसी; मुख्यमंत्री निशुल्क दवा व जांच योजना, इंक्वायरी सेंटर और एम्बुलेंस की देखरेख।

डॉ. राजेश शर्मा: मुख्यमंत्री आयुष्मान आरोग्य, निरोगी राजस्थान और ओपीडी प्रबंधन।

डॉ. बी.पी. मीणा: RGHS, पीएमजेएवाई और इमरजेंसी ट्रॉली मैनेजमेंट के इंचार्ज।

प्रशासनिक दक्षता और पारदर्शिता पर फोकस: अधीक्षक डॉ. मृणाल जोशी ने कहा कि यह नई कार्य व्यवस्था अस्पताल में प्रशासनिक दक्षता, जवाबदेही और आपसी समन्वय बढ़ाने के लिए की गई है। उनका लक्ष्य है कि मरीजों को और अधिक सुव्यवस्थित और सुरक्षित चिकित्सा सेवाएं उपलब्ध कराई जा सकें।

फायर सेफ्टी, ऑक्सीजन मैनेजमेंट और सिक्योरिटी से संबंधित जिम्मेदारियों को विशेष प्राथमिकता दी गई है, ताकि हालिया घटनाओं से मिले सबक को ध्यान में रखते हुए अस्पताल में सुरक्षा मानकों को मजबूत किया जा सके।

सुरक्षा और आपदा प्रबंधन को दी जा रही प्राथमिकता:अस्पताल प्रशासन ने स्पष्ट किया कि नई व्यवस्था में फायर सेफ्टी ड्रिल, CCTV मॉनिटरिंग और इंफेक्शन कंट्रोल उपायों पर विशेष ध्यान रहेगा। इसके साथ ही, ट्रॉमा सेंटर, ऑर्गन ट्रांसप्लांट और इमरजेंसी सेवाओं में समन्वय बढ़ाने के लिए वरिष्ठ डॉक्टरों को सीधे जवाबदेह बनाया गया है।

डॉ. जोशी ने कहा कि अस्पताल प्रशासन अब “पेशेंट-फर्स्ट एप्रोच” पर काम करेगा, जिसमें सभी फैसले मरीजों की सुविधा, सुरक्षा और शीघ्र उपचार को प्राथमिकता देंगे।

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