भारत के प्रतिष्ठित उद्योगपति और टाटा संस के मानद चेयरमैन रतन नवल टाटा का 86 वर्ष की आयु में निधन हो गया। उन्होंने बुधवार देर रात लगभग 11 बजे मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल की इंटेसिव केयर यूनिट (ICU) में अंतिम सांस ली। वे पिछले कुछ समय से उम्र संबंधी बीमारियों से पीड़ित थे और उनके स्वास्थ्य में गिरावट आ रही थी। गुरुवार को उनका राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा। पीएम मोदी ने शोक जताया।
रतन टाटा के निधन की जानकारी सबसे पहले उद्योगपति हर्ष गोयनका ने सोशल मीडिया पर साझा की। रात 11:24 बजे, गोयनका ने लिखा, "घड़ी की टिक-टिक बंद हो गई। टाइटन नहीं रहे। रतन टाटा ईमानदारी, नैतिक नेतृत्व और परोपकार के प्रतीक थे।" उनकी इस पोस्ट के बाद सोशल मीडिया पर शोक संदेशों की बाढ़ आ गई, जिसमें उद्योग जगत से लेकर आम जनता तक रतन टाटा को श्रद्धांजलि दे रही है।
रात करीब 2 बजे उनका पार्थिव शरीर अस्पताल से उनके घर ले जाया गया, जहां उन्हें अंतिम श्रद्धांजलि देने के लिए उद्योग, राजनीति और समाज के प्रमुख लोग मौजूद रहे। टाटा का राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा। उनके सम्मान में गुरुवार सुबह 10 बजे से शाम 4 बजे तक उनका पार्थिव शरीर साउथ मुंबई के नेशनल सेंटर फॉर परफॉर्मिंग आर्ट्स (NCPA) के हॉल में रखा जाएगा ताकि लोग उनके अंतिम दर्शन कर सकें और उन्हें अपनी श्रद्धांजलि अर्पित कर सकें।
रतन टाटा, जिन्होंने टाटा समूह को अंतरराष्ट्रीय पहचान दिलाई, अपने जीवन में उच्च नैतिक मूल्यों के प्रतीक थे। वे पद्म विभूषण और पद्म भूषण से सम्मानित थे। 17 अक्टूबर को ICU में भर्ती किए जाने की खबर पर उन्होंने खुद ही इसे खारिज करते हुए इसे मात्र रूटीन चेकअप बताया था
Shri Ratan Tata Ji was a visionary business leader, a compassionate soul and an extraordinary human being. He provided stable leadership to one of India’s oldest and most prestigious business houses. At the same time, his contribution went far beyond the boardroom. He endeared… pic.twitter.com/p5NPcpBbBD
— Narendra Modi (@narendramodi) October 9, 2024
— Tata Group (@TataCompanies) October 9, 2024