जल जीवन मिशन (JJM) घोटाले की जांच में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए पूर्व मंत्री महेश जोशी, उनके सहयोगियों और परिवारजनों की कुल ₹ 47.80 करोड़ की चल-अचल संपत्तियों को अटैच कर दिया है। ईडी को यह संपत्तियां घोटाले से अर्जित अवैध आय की प्रतीत हुईं, जिसके बाद यह कार्रवाई धनशोधन निवारण अधिनियम (PMLA), 2002 के तहत की गई है।
ईडी की आधिकारिक जानकारी के अनुसार, यह अटैच की गई संपत्तियां जयपुर के विभिन्न क्षेत्रों में स्थित हैं और इनमें कृषि भूमि, आवासीय फ्लैट, मकान, एवं अन्य चल संपत्तियां शामिल हैं। जिन व्यक्तियों की संपत्तियां अटैच की गई हैं, उनमें महेश जोशी के साथ-साथ संजय बड़ाया, पदमचंद जैन, महेश मित्तल, विशाल सक्सेना और उनके परिवार के सदस्य व सहयोगी फर्में शामिल हैं।
गौरतलब है कि महेश जोशी फिलहाल ईडी की हिरासत में हैं और उनके खिलाफ कई गंभीर आरोपों की जांच चल रही है। ईडी का दावा है कि घोटाले में शामिल ठेकेदारों से रिश्वत की राशि जोशी और उनके करीबियों तक पहुंचाई गई, और इस अवैध आय को संपत्तियों में निवेश कर मनी लॉन्ड्रिंग की गई।
इससे पहले विशेष PMLA अदालत ने महेश जोशी की जमानत याचिका खारिज कर दी थी, जिसमें अदालत ने यह कहा था कि मामले में जांच अभी लंबित है और आरोप गंभीर हैं, इसलिए जमानत नहीं दी जा सकती।