Saturday, 07 June 2025

मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की ‘वंदे गंगा’ जल संरक्षण-जन अभियान: राजस्थान में किसानों, उद्योगों और आम नागरिकों के जीवन को भी देगा नया संबल


मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की ‘वंदे गंगा’ जल संरक्षण-जन अभियान: राजस्थान में किसानों, उद्योगों और आम नागरिकों के जीवन को भी देगा नया संबल

राजस्थान में जल संरक्षण की ऐतिहासिक विरासत को आधुनिक सोच के साथ जोड़ते हुए मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने ‘वंदे गंगा जल संरक्षण-जन अभियान’ की शुरुआत की है। यह अभियान गंगा दशहरा और विश्व पर्यावरण दिवस (5 जून) के अवसर पर जयपुर के रामगढ़ बांध से मुख्यमंत्री के श्रमदान और 'एक पेड़ मां के नाम' के तहत पौधरोपण से आरंभ हुआ। मुख्यमंत्री ने सिंदूर का पौधा लगाकर पर्यावरण व जल संरक्षण का संदेश दिया।

5 जून से 20 जून तक चलने वाले इस जन अभियान के अंतर्गत जल संचय संरचनाओं का निर्माण, जल स्रोतों की सफाई, पारंपरिक जलाशयों का पुनरुद्धार, वंदे गंगा कलश यात्रा, और जलाशय पूजन जैसे कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। आमजन को इस पहल में जोड़ा जा रहा है ताकि भूजल स्तर में सुधार और वर्षा जल के संग्रहण को प्रोत्साहन मिल सके।

मुख्यमंत्री शर्मा ने इस अवसर पर जयपुर, बूंदी और भरतपुर में आयोजित विभिन्न कार्यक्रमों में भाग लिया। उन्होंने चम्बल नदी के केशव घाट पर पूजा, सुजान गंगा नहर में दीपदान, और गंगा माता मंदिर में गंगाजल वितरण जैसे सांस्कृतिक आयोजनों के माध्यम से जल संरक्षण को जन-संस्कृति से जोड़ने की मिसाल पेश की।

पर्यावरण संरक्षण की दिशा में राज्य सरकार के कदम यहीं नहीं थमे। विश्व पर्यावरण दिवस पर मुख्यमंत्री ने ई-वेस्ट संग्रहण वाहनों, सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट्स, लव कुश वाटिकाएं, और सर्कुलर इकोनॉमी इन्सेंटिव स्कीम की सौगात दी। यह सब योजनाएं राज्य के पहले ग्रीन बजट का हिस्सा हैं जो स्वच्छ जल, स्वच्छ हवा और स्वच्छ धरा की दिशा में कदम हैं।

राज्य सरकार ने पूर्व में भी जल संरक्षण को प्राथमिकता दी है। ‘कर्मभूमि से मातृभूमि’ अभियान के तहत अगले चार वर्षों में 45,000 से अधिक जल संरचनाएं बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। साथ ही रामजल सेतु लिंक, यमुना जल समझौता, देवास परियोजना, और सोम-कमला-अंबा योजना जैसी बड़ी जल परियोजनाओं को गति दी गई है।

मुख्यमंत्री के दूरदर्शी नेतृत्व और भागीरथ प्रयासों से यह अभियान न केवल जल संकट से निपटने में सहायक होगा, बल्कि प्रदेश के किसानों, उद्योगों और आम नागरिकों के जीवन को भी नया संबल देगा।

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