जम्मू-कश्मीर के किरू हाइड्रोपावर प्रोजेक्ट से जुड़े बहुचर्चित भ्रष्टाचार मामले में चार्जशीट दाखिल होने के 15 दिन बाद पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने X (पूर्व ट्विटर) पर पहली बार चुप्पी तोड़ी है। उन्होंने कहा कि पिछले एक महीने से वह अस्पताल में भर्ती हैं और किडनी संबंधी गंभीर बीमारी से जूझ रहे हैं। उन्होंने इस बात का भी जिक्र किया कि अगर उनके पास दौलत होती तो वे प्राइवेट अस्पताल में इलाज कराते।
सत्यपाल मलिक ने अपने बयान में स्पष्ट किया कि जिस टेंडर को लेकर उन्हें फंसाने की कोशिश की जा रही है, उसे उन्होंने स्वयं निरस्त किया था। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस भ्रष्टाचार की जानकारी व्यक्तिगत रूप से दी थी और उसके बाद ही टेंडर को रद्द कर दिया गया था। उन्होंने यह भी कहा कि उनके तबादले के बाद किसी अन्य अधिकारी के हस्ताक्षर से यह विवादित टेंडर पास हुआ।
गौरतलब है कि 22 मई 2025 को CBI ने सत्यपाल मलिक समेत पांच लोगों के खिलाफ करीब ₹ 2,200 करोड़ के सिविल वर्क्स कॉन्ट्रैक्ट में अनियमितताओं को लेकर चार्जशीट दाखिल की थी। यह आरोप जम्मू-कश्मीर के किरू हाइड्रोपावर प्रोजेक्ट से जुड़ा है, जिसमें गंभीर घोटाले की बात सामने आई है। इससे पहले 22 फरवरी 2024 को सीबीआई ने सत्यपाल मलिक के निवास पर छापेमारी की थी और दिल्ली समेत 29 ठिकानों पर रेड की गई थी।
सत्यपाल मलिक द्वारा सोशल मीडिया पर दिया गया यह बयान अब राजनीतिक और प्रशासनिक हलकों में चर्चा का विषय बन गया है। यह देखना दिलचस्प होगा कि अब इस पूरे मामले में केंद्र सरकार और न्यायिक संस्थाएं क्या रुख अपनाती हैं।
नमस्कार साथियों।
— Satyapal Malik (@SatyapalMalik6) June 6, 2025
आप सभी के आशीर्वाद ओर दुआओं से मेरी तबियत में सुधार हुआ है। अब मैं ICU से बाहर वार्ड में शिफ्ट हो चुका हूं। मेरे इन्फेक्शन में भी सुधार हो रहा है। जैसे ही आप लोगों को मेरे बीमार होने का पता चला तो बहुत से साथियों के फ़ोन आए ओर बहुत से शुभचिंतक यहां अस्पताल में… pic.twitter.com/UGLkjYGKcR