Thursday, 26 June 2025

आईआईटी जोधपुर का 11 वां दीक्षांत समारोह: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने युवाओं से ‘भारत प्रथम’ भावना के साथ कार्य करने का आह्वान किया


आईआईटी जोधपुर का 11 वां दीक्षांत समारोह: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने युवाओं से ‘भारत प्रथम’ भावना के साथ कार्य करने का आह्वान किया

जोधपुर। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि दीक्षांत समारोह केवल एक औपचारिकता नहीं, बल्कि विद्यार्थियों के जीवन का ऐसा क्षण होता है जो उनके भविष्य की दिशा तय करता है। उन्होंने युवाओं से आह्वान किया कि वे कभी सीखना और सपने देखना बंद न करें, बल्कि 'भारत प्रथम' की भावना के साथ जीवन के हर निर्णय लें।

मुख्यमंत्री आईआईटी जोधपुर के 11वें दीक्षांत समारोह को संबोधित कर रहे थे, जहां उन्होंने विद्यार्थियों को स्नातक की उपाधियां और मेधावी विद्यार्थियों को स्वर्ण पदक प्रदान किए। उन्होंने संस्थान को मरुधरा की धरती पर चमकता हुआ मोती बताया और कहा कि आईआईटी जोधपुर भारत के प्रतिष्ठित तकनीकी संस्थानों में अग्रणी है।

मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि सरकार युवाओं की नवाचार शक्ति को पहचान कर टेक्नोलॉजी, स्टार्टअप और उच्च शिक्षा में निरंतर निवेश कर रही है। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार की ओर से ‘राजस्थान-2047: वैश्विक नेतृत्व की ओर’ दृष्टिकोण को साकार करने के लिए 350 बिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था का लक्ष्य रखा गया है।

उन्होंने कहा कि राइजिंग राजस्थान समिट के जरिए 35 लाख करोड़ रुपये से अधिक के एमओयू हुए हैं, जिनमें से 3.25 लाख करोड़ रुपये से अधिक के एमओयू क्रियान्वयन की दिशा में हैं।

राज्य सरकार के प्रयासों की चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री शर्मा ने बताया कि आगामी दो वर्षों में डेढ़ लाख युवाओं को प्रशिक्षित किया जाएगा। टेकबी, लर्न-अर्न-प्रोग्रेस (लीप), स्टार्टअप लॉन्चपैड जैसे नवाचार शुरू किए गए हैं।राजस्थान रोजगार नीति-2025 और विवेकानंद रोजगार सहायता कोष के माध्यम से 4 लाख सरकारी व 6 लाख निजी रोजगार देने का लक्ष्य है।

मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि भारतीय ज्ञान परंपरा सदियों से विज्ञान और प्रौद्योगिकी का केंद्र रही है। शून्य, दशमलव प्रणाली, और त्रिकोणमिति जैसे आविष्कारों के माध्यम से भारतीय विद्वानों ने विश्व को मार्गदर्शन दिया है।

इस अवसर पर आईआईटी जोधपुर अभिशासक मंडल अध्यक्ष एएस किरण कुमार ने कहा कि संस्थान नवाचार और उत्कृष्टता का केंद्र है और विद्यार्थियों को वैश्विक अवसरों के लिए तैयार कर रहा है। प्लाक्षा विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. रूद्रप्रताप ने तकनीकी शिक्षा को पर्यावरण संरक्षण और सतत विकास से जोड़ने पर बल दिया।

संस्थान के निदेशक प्रो. अविनाश कुमार अग्रवाल ने कहा कि संस्थान न केवल तकनीकी शिक्षा बल्कि नैतिक मूल्यों में भी छात्रों को सशक्त बना रहा है।

मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने इस अवसर पर प्रो. आशुतोष शर्मा (पूर्व सचिव डीएसटी, भारत सरकार), विपिन सोंधी (पूर्व एमडी, अशोक लैलेण्ड), और डॉ. वीके सारस्वत (सदस्य, नीति आयोग) को मानद उपाधि से सम्मानित किया।समारोह में संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल, उद्योग राज्यमंत्री केके विश्नोई, स्थानीय विधायकगण, विश्वविद्यालय के शिक्षक, विद्यार्थी और अभिभावकगण बड़ी संख्या में उपस्थित रहे।

Previous
Next

Related Posts